बिहार

मुख्यमंत्री नीतीश कुमार एवम जिला पदाधिकारी को एक ज्ञापन सौंपा गया

औरंगाबाद(प्रमोद कुमार सिंह): प्राप्त जानकारी के अनुसार आज प्रदेश भवन एवं पथ निर्माण संबद्ध-भारतीय मजदूर संघ, जिला इकाई औरंगाबाद के द्वारा एक पत्र के माध्यम से सादर पूर्वक कहना है कि भारत सरकार के द्वारा वर्ष 1996 में असंगठित मजदूर भवन निर्माण में लगे हुए हैं

ऐसे लोगों के लिए सरकार ने वर्ष 1996 में एक्ट बनाया जो बिहार प्रदेश में नियमावली बनाकर वर्ष 2005 से लागू है जिससे मजदूरों के सामाजिक न्याय की दिशा में बहुत सारी योजनाओं का शुभारंभ किया गया लेकिन खेद के साथ कहना है कि आज कंस्ट्रक्शन के मजदूरों को अधिकांश सुविधाओं से वंचित किया जा रहा है

या तो उसमें बिचौलियों का समावेश किया जा रहा है इसे गंभीरता से लेते हुए संगठन में निम्र मांगों को आपके समक्ष रखते हुए स्मार पत्र के माध्यम से आप का ध्यान आकृष्ट कराने का प्रयास किया है जो इस प्रकार है। इनकी कुछ मांगे इस प्रकार है।

1 बिहार श्रीमान कर्मकार कल्याण बोर्ड का गठन अतिशीघ्र किया जाए। 2 प्रत्येक वर्ष निबंधित श्रमिकों को मिलने वाले चिकित्सा भत्ता चालू किया जाए। 3 भारत सरकार के द्वारा भवन निर्माण श्रमिकों के लिए चलाए जा रहे औजार योजना तथा साइकिल देने संबंधित योजनाओं को पुनः चालू किया जाए।

4 राज्य के सभी जिलों में अनुश्रवण कमेटी का गठन किया जाए। 5 निबंधन के पश्चात बोर्ड द्वारा कोई भी राशि श्रमिकों से लेने की परंपरा को खत्म किया जाए।

6 बोर्ड में सलाहकार समिति/ अध्यक्ष/ बोर्ड के सदस्य की नियुक्ति केंद्रीय श्रम संगठनों की अनुशंसा पर किया जाए। 7 योजनाओं के लाभ में दलाली प्रथा बंद किया जाए।

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8 बोर्ड में शेष की राशि को अन्य मदों में हो रहे खर्च पर रोक लगाई जाए तथा शेष की राशि को बोर्ड में स्थानांतरित किया जाए।

9 आयुष्मान कार्ड के लाभुकों को सुविधाएं में हो रही कठिनाई को दूर करते हुए उसे और सरल और सुलभ बनाया जाए । 10 निबंधित श्रमिकों को 60 वर्ष पूरा होने के उपरांत 3000 रुपया प्रत्येक माह भुगतान सुनिश्चित किया जाए।

11 निबंधन प्रक्रिया को सरल बनाते हुए 90 दिनों का काम कराने का प्रमाण पत्र केंद्रीय श्रम संगठनों से संबंधित यूनियनों का प्रमाण पत्र को वैध माना जाए । ,12 कन्या विवाह योजनाओं का लाभ 1 वर्ष की सदस्यता के उपरांत दीया जाए।

13 भवन निर्माण श्रमिकों को भवन मरम्मत का लाभ लेने हेतु जमीन की रसीद देने की बाध्यता को समाप्त किया जाए।

जतः श्रीमान से निवेदन है की श्रमिकों के हित में अपनी व्यक्तिगत रूचि लेते हुए उपर्युक्त सभी मांगों के समाधान हेतु इस पत्र के माध्यम से आक्रिस्ट कराया गया है। इस कार्यक्रम के मौके पर राकेश कुमार देवता,अनिल कुमार, विवेक कुमार,आलोक कुमार, श्याम कुमार,रंजन चंद्रवंशी आदि लोग मौजूद थे।

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