पूर्णिया, (न्यूज़ क्राइम 24) बालिकाओं को गर्भाशय ग्रीवा के कैंसर से बचाव के लिए बिहार सरकार के तत्वावधान में राज्य स्वास्थ्य विभाग द्वारा बिहार राज्य के पांच चिन्हित जिलों में मुख्यमंत्री बालिका कैंसर प्रतिरक्षण योजना की शुरुआत की गई है। योजना में पहले चरण के तहत बिहार के पूर्णिया जिले के साथ साथ पटना, नालंदा, मुजफ्फरपुर और सिवान में 09 वर्ष से 14 आयुवर्ग के बालिकाओं को ह्यूमन पेपिलोमा वायरस (एचपीवी) टीका लगाया गया है। स्वास्थ्य मंत्री मंगल पांडेय द्वारा आइजीआइएमएस पटना से पांचों जिलों में वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से कार्यक्रम की शुरुआत की गई। इस दौरान स्वास्थ्य मंत्री मंगल पांडेय ने कहा कि बिहार स्वास्थ्य विभाग लोगों की सेवा भावना के साथ काम करता है।
देश में 01 लाख से अधिक जबकि बिहार में 20 हजार से अधिक बालिकाएं हर साल 30 वर्ष की उम्र के बाद गर्भाशय कैंसर से ग्रसित पाई जाती है। इसकी सुरक्षा के लिए स्वास्थ्य विभाग द्वारा मुख्यमंत्री बालिका कैंसर प्रतिरक्षण योजना कार्यक्रम के तहत टीकाकरण अभियान की शुरुआत की गई। बिहार देश का पहला राज्य है जो बच्चियों को गर्भाशय ग्रीवा कैंसर से सुरक्षित करने के लिए टीकाकरण सुविधा उपलब्ध करा रही है। इसके पहले चरण में राज्य के चार जिले के मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल तथा सिवान जिले के सदर अस्पताल में टीकाकरण अभियान चलाया गया है। बहुत जल्द इसे अन्य जिलों में भी चलाया जाएगा ताकि बालिकाओं को सर्वाइकल कैंसर ग्रसित होने से सुरक्षित रखा जा सके।
पूर्णिया जिले में राजकीय चिकित्सा महाविद्यालय एवं अस्पताल (जीएमसीएच) के पारा मेडिकल भवन में एडीएम राजकुमार द्वारा फीता काटकर कार्यक्रम की शुरुआत की गई। इस दौरान उन्होंने उपस्थित बच्चों के स्वास्थ्य की जानकारी लेते हुए परिजनों से उनके टीकाकरण लगाने की सहमति ली। इसके बाद उपस्थित बालिकाओं को टीका दिलवाते हुए एडीएम द्वारा सभी बच्चों को पहला डोज टीकाकरण का प्रमाणपत्र जारी किया गया। एचपीवी टीकाकरण के पहले चरण में पूर्णिया जिले से विभिन्न स्कूलों से 09 से 14 आयुवर्ग की बालिकाएं उपस्थित हुई। इसमें सामान्य बालिकाओं के साथ साथ मुस्लिम और संथाल बालिकाएं भी उपलब्ध रही।
इस दौरान जीएमसीएच हॉस्पिटल सुपरिटेंडेंट डॉ संजय कुमार, एसीएमओ डॉ आर पी मंडल, डीआईओ डॉ विनय मोहन, डीपीएम सोरेंद्र कुमार दास, डीएम&ई आलोक कुमार, विशेषज्ञ चिकित्सक डॉ बागेश्वर कुमार, डब्लूएचओ एसएमओ डॉ अरुल मुरुगन, डब्लूएचओ एएफपीआईयूसी डॉ मृणाल शर्मा, यूनिसेफ एसएमसी मुकेश गुप्ता, डब्लूजेसीएफ जिला प्रतिनिधि राहुल सोनकर, यूएनडीपी जिला प्रतिनिधि रजनीश पटेल, जीएमसीएच कैंसर स्क्रीनिंग चिकित्सक डॉ ऐश्वर्या राय, डॉ गौरव कुमार सहित अन्य स्वास्थ्य अधिकारी उपस्थित रहे।
09 से 14 आयुवर्ग की बालिकाओं को सुरक्षा के लिए लगाया गया पहला डोज :
एसीएमओ डॉ आर पी मंडल ने कहा कि 09 से 15 आयुवर्ग की बालिकाओं को सर्वाइकल कैंसर से सुरक्षित रखने के लिए स्वास्थ्य विभाग द्वारा टीकाकरण अभियान चलाया गया है जिसके तहत जिले के चिन्हित सरकारी और प्राथमिक विद्यालयों के बालिकाओं को एचपीवी टीका लगाया गया है। पहले चरण में जिले के 100 बालिकाओं को एचपीवी टीका के पहले डोज उपलब्ध कराया गया है। टीका लगाने के 06 माह बाद सभी संबंधित लाभार्थियों को एचपीवी का दूसरा डोज लगाया जाएगा। टीका लगाने से सभी लाभार्थियों को सर्वाइकल कैंसर होने की संभावना खत्म हो जाएगी और लाभार्थी गर्भाशय ग्रीवा के कैंसर ग्रसित होने से सुरक्षित रहेंगे। टीकाकरण के लिए उपस्थित सभी लाभार्थियों को टीका लगाने के बाद 30 मिनट चिकित्सकों की निगरानी में रखा गया जिससे कि उन्हें जरूरत होने पर चिकित्सकीय सहायता प्रदान किया जा सके। टीकाकरण के बाद किसी लाभार्थी को कोई समस्या नहीं हुई।
जीवनभर सर्वाइकल कैंसर से सुरक्षित रखेगा एचपीवी टीका :
जिला प्रतिरक्षण पदाधिकारी डॉ विनय मोहन ने कहा कि एचपीवी टीका बालिकाओं को 30 वर्ष के बाद गर्भाशय के ग्रीवा कैंसर ग्रसित होने से सुरक्षित रखता है। इसके लिए छः महीने के अंतराल पर टीका का 02 डोज लगाना आवश्यक है। सर्वाइकल कैंसर से सुरक्षित रहने के लिए जांच के बाद निजी अस्पताल में टीका लगाने से लोगों को पांच हजार रुपया से अधिक प्रति डोज का खर्च होता है। स्वास्थ्य विभाग द्वारा इसे सरकारी अस्पतालों के माध्यम से 09 से 14 वर्ष की बालिकाओं के लिए मुफ्त उपलब्ध कराने के लिए यह अभियान शुरू किया गया है। पहले चरण में जिले के 100 बालिकाओं को इसका लाभ उपलब्ध कराया गया है। सम्पूर्ण टीकाकरण की सफलता के बाद अन्य बालिकाओं के लिए भी इस अभियान को जारी रखा जाएगा।
जानें क्या है ह्यूमन पेपीलोमा वायरस :
ह्यूमन पेपीलोमा वायरस एक ऐसा संक्रमण है जो असुरक्षित यौन संबंध बनाने से महिलाओं के गर्भाशय ग्रीवा में संक्रमित हो जाता है। इसकी जानकारी संक्रमित महिला को बहुत समय बाद होती है। इस दौरान संबंधित महिला सर्वाइकल कैंसर से ग्रसित हो सकती है। भारत में हर साल 01 करोड़ से अधिक मामले पाए जा रहे हैं। बालिकाओं को किशोरावस्था में एचपीवी टीका लगाने से उन्हें सर्वाइकल कैंसर ग्रसित होने की संभावना खत्म हो जाती है जो वे कैंसर ग्रसित होने से सुरक्षित रह सकती हैं।