पटना, (न्यूज़ क्राइम 24) प्राइवेट स्कूल्स एंड चिल्ड्रेन वेलफेयर एसोसिएशन के राष्ट्रीय अध्यक्ष सैयद शमायल अहमद ने बिहार के माननीय शिक्षा मंत्री से उनके सरकारी कार्यालय में उनसे मिलकर उन्हें एक विस्तृत ज्ञापन सौंपते हुए निजी विद्यालयों और उनके छात्रों से जुड़ी विभिन्न गंभीर समस्याओं के शीघ्र समाधान की मांग की है।
श्री अहमद ने बताया कि शिक्षा के अधिकार अधिनियम (RTE) के तहत पिछले 6 वर्षों से लंबित बकाया राशि अब तक निजी विद्यालयों को नहीं दी गई है, जिससे हजारों विद्यालय आर्थिक संकट में हैं। उन्होंने बताया कि इस मामले पर मंत्री महोदय द्वारा 28 फरवरी से पहले भुगतान के निर्देश दिए गए थे, लेकिन अब तक राशि निर्गत नहीं हुई है, जिससे विद्यालय संचालकों और अभिभावकों में असंतोष व्याप्त है।
इसके अतिरिक्त उन्होंने कहा कि निजी विद्यालयों से 8वीं कक्षा उत्तीर्ण करने के बाद जब छात्र सरकारी विद्यालयों में 9वीं कक्षा में नामांकन लेने जाते हैं, तो उनसे प्रखंड शिक्षा पदाधिकारी (BEO) से टीसी पर काउंटर सिग्नेचर लाने की शर्त रखी जाती है। कई मामलों में इसके एवज में अवैध धन की मांग की जा रही है, जिससे छात्रों और अभिभावकों को मानसिक व आर्थिक प्रताड़ना का सामना करना पड़ रहा है।
निजी विद्यालयों को परीक्षा केंद्र बनाया जाना, जिससे छात्रों की पढ़ाई बाधित होती है, जबकि कोई मुआवज़ा नहीं दिया जा रहा है। Apar ID बनाने में आधार की कमी, नाम व जन्मतिथि में त्रुटियों के चलते बाधाएं और विभागीय असहयोग। कई स्कूलों के QR Code का नवीनीकरण नहीं हो रहा है, जिससे वे आगे की प्रक्रिया में शामिल नहीं हो पा रहे हैं। U-DISE में स्कूलों को प्रविष्टि का अधिकार नहीं है, ना ही नाम एवं जन्म तिथि सुधार की सुविधा उपलब्ध कराई जा रही है। सैयद शमायल अहमद ने मांग की है कि शिक्षा विभाग इन मुद्दों पर अविलंब संज्ञान ले और निजी विद्यालयों को राहत प्रदान करने हेतु स्पष्ट दिशा-निर्देश जारी करे।