नीतीश कुमार की आलोचना गलत : सांसद रविशंकर प्रसाद

पटना(न्यूज क्राइम 24): पटना साहिब लोकसभा के सांसद एवं पूर्व केंद्रीय मंत्री रविशंकर प्रसाद ने एक वक्तव्य में यह कहा है की केंद्रीय बजट एक विकसित भारत बनाने का एक बहुत बड़ा रोडमैप बनाता है और साथ ही इसमें किसानों, गरीबों, पिछड़ों, आदिवासी और अन्य वंचितों के विकास के लिए पर्याप्त प्रावधान किए गए है।

श्री प्रसाद ने कहा की मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की बजट पर की गई आलोचनात्मक टिप्पणी तथ्यों से परे है। इस बजट में किसान और किसानी के विकास के लिए कृषि ऋण का लक्ष्य बढ़ाकर 20 लाख करोड़ किया गया है। इसमें विशेष रूप से पशुपालन, डेयरी और मत्स्य पालन पर विशेष ध्यान दिया जाएगा।

6000 करोड़ रुपए के पीएम मत्स्य संपदा योजना मछुवारे, मछली विक्रेताओं और माइक्रो व छोटे उद्धमियों को भी सशक्त बनाएगा। स्वाभाविक है की इस बड़ी योजना से बिहार के किसानों, डेयरी और मछलीपालन में व्यवसाय करने वालो को बहुत मदद मिलेगी। गरीबों के लिए पीएम आवास योजना बढ़ाकर 79 हजार करोड़ कर दिया गया है और इसमें 66% की बढ़ोतरी हुई है।

स्वाभाविक है की पीएम आवास योजना की इस बढ़ी हुई राशि का लाभ बिहार के गरीबों को भी मिलेगा। कृषि क्षेत्र में स्टार्टअप की योजना के लिए नौजवानों के लिए एक नया कॉर्पस तैयार हो रहा है और देश में स्टार्टअप आंदोलन के सफलता के आलोक में कृषि क्षेत्र में बहुत क्रांति होगी। स्वाभाविक है की इसका लाभ बिहार को भी मिलेगा।

इसी क्रम में अगले 3 वर्ष तक 1 करोड़ किसानों को प्राकृतिक खेती में मदद की जाएगी। इसके लिए 10000 बायो इनपुट रिसोर्स सेंटर बनाई जायेगी। इसी प्रकार 500 नए वेस्ट वेल्थ प्लांट गोवर्धन योजना के अंतर्गत शुरू किए जायेंगे जिसमें 200 कंप्रेस्ड बायोगैस प्लांट और 300 सामुदायिक संचालित प्लांट स्थापित किए जाएंगे जिसके लिए 10000 करोड़ का प्रावधान किया गया है।

इसका भी लाभ बिहार को मिलेगा क्योंकि इसकी बहुत संभावना है। इस बजट की सबसे महत्वपूर्ण बात मिल्लेट यानि ज्वार, रागी, बाजरा, कुट्टू, कोदो आदि के उपज की विकास के प्राथमिकताओं के रूप में रखा गया है और इसका नाम श्री अन्न्न बजट में प्रस्तावित है। भारत का मिलट दुनिया पर राज करे, ये छोटे किसान उगाते है और बिहार में बड़ी संख्या में इसका उत्पादन होता है। स्वाभाविक है इसका सीधा लाभ बिहार के छोटे किसानों को मिलेगा।

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50 पर्यटन के नए क्षेत्रों को चुना जायेगा और विकास किया जाएगा। नीतीश जी इसका लाभ आपकी सरकार ले और बिहार के नए पर्यटन केंद्रों का विकास हो इसमें हम सबों की रुचि है।

प्रधानमंत्री विश्वकर्मा कौशल सम्मान योजना एक बहुत ही क्रांतिकारी योजना है। छोटे, पारंपरिक, कामगार जो अपने हाथ और उपकरणों से लोकप्रिय उत्पादन करते है उनके विकास के लिए कार्यक्रम है जिसमें काफी पैसा आएगा। बिहार में ऐसे कामगार बहुत है और उनको भी इसका लाभ मिलेगा।

2014 से मौजूद 157 मेडिकल कॉलेज के साथ 157 नए नर्सिंग कॉलेज खोले जायेंगे स्वाभाविक है की इसका लाभ बिहार को भी मिलेगा। शिक्षा के क्षेत्र में बच्चों के लिए राष्ट्रीय डिजिटल लाइब्रेरी, शिक्षकों के ट्रेनिंग के लिए जिलों में शिक्षा केंद्र का खोला जाना एनीमिया उन्मूलन, मेडिकल अनुसंधान, आदिवासी क्षेत्रों के लिए विशेष 15 हजार करोड़ की व्यवस्था और एस्पिरेशनल जिलों की सफलता के आधार पर 500 ब्लॉक्स का चयन जहां स्वास्थ्य, शिक्षा, कृषि आदि पर विशेष जोड़ हो, इसका सीधा लाभ बिहार को मिलने वाला है।

ढांचागत सुविधा (इंफ्रास्ट्रक्चर) रेलवे के बजट को बढ़ाकर 2.40 लाख करोड़ कर दिया गया है जो यूपीए सरकार के समय के आवंटन से 9 गुणा अधिक है स्वाभाविक है की इसका लाभ बिहार को मिलेगा, नई रेलवे लाइन, सौंदर्यीकरण और वंदे भारत एक्सप्रेस को सफल अभियान के आलोक में ऐसी ट्रेन यहां भी चलने की संभावना है। उसी प्रकार से ढांचागत विकास के लिए 10 लाख करोड़ की राशि का प्रावधान किया गया है जो 33% की बढ़ोतरी है इसका भी लाभ बिहार में राष्ट्रीय राजमार्ग और अन्य योजनाओं में होग।

ये कुछ प्रमुख बातें बताना इसलिए भी जरूरी था की बिहार सरकार इसका लाभ लें सिर्फ आलोचना नहीं करे जैसा नीतीश जी ने किया है। पूर्व में प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी द्वारा घोषित 1 लाख 25 हजार करोड़ की जगह पर बिहार के विकास के लिए 1 लाख 40 हजार करोड़ दी जा चुकी है जिसका विस्तार से विवरण गृह मंत्री श्री अमित शाह जी ने पिछली अपनी पूर्णिया की आम सभा में विस्तार से रखा।

नरेंद्र मोदी जी की सरकार बिहार के विकास के लिए हर संभव प्रयास करेगी लेकिन नीतीश बाबू आपको भी शासन, प्रशासन को चुस्त करना पड़ेगा और अपराध पर रोकथाम लगाना पड़ेगा। इस मामले में स्थिति बहुत ही चिंताजनक है।

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